पश्चिम बंगाल में हिंदू समुदाय के खिलाफ हो रहे अत्याचारों को लेकर देशभर में आक्रोश फैलता जा रहा है। व्यापार लूटे जा रहे हैं, बहन-बेटियों के अपहरण और उत्पीड़न की घटनाएं सामने आ रही हैं। इन घटनाओं के विरोध में देशभर से हिंदू संगठन अब एकजुट होकर आवाज उठा रहे हैं।
विरोध कर रहे संगठनों का कहना है कि राज्य की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी अपनी ज़िम्मेदारी निभाने में विफल रही हैं, और अब उनके खिलाफ राष्ट्रपति शासन लागू किया जाना चाहिए।

हजारों कार्यकर्ताओं ने किया प्रदर्शन, राष्ट्रपति शासन की मांग
विश्व हिंदू परिषद, बजरंग दल और राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ के कार्यकर्ताओं ने एक सुर में ममता बनर्जी को बर्खास्त करने की मांग की है। इनका कहना है कि जिस प्रकार मुगल काल में धर्मांतरण और अत्याचार होते थे, उसी प्रकार की घटनाएं आज बंगाल में दोहराई जा रही हैं।
प्रदर्शनकारियों ने कहा, “हिंदू समाज अब चुप नहीं बैठेगा, जहां भी अत्याचार होगा, वहां विरोध की आवाज बुलंद होगी।”
राजनीतिक प्रतिद्वंद्विता या सच में हिंदू समाज पर हमला?
प्रदर्शनकारियों का आरोप है कि ममता बनर्जी और उनके राजनीतिक गठबंधन — कांग्रेस, समाजवादी पार्टी आदि — हिंदू समाज को दबाने और उनके अधिकार छीनने की साजिश कर रहे हैं।
“यह सब एक सुनियोजित षड्यंत्र है जो भारत की सामाजिक एकता को तोड़ने का प्रयास कर रहा है,” यह कहना है मोर्चा की उपाध्यक्ष कल्पना माहेश्वरी का, जिन्होंने राजस्थान से आकर भी इस विरोध में भाग लिया।
योगी मॉडल बनाम ममता मॉडल: तुलना और टकराव
उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ की कार्यशैली की देशभर में सराहना हो रही है। प्रदर्शनकारियों ने कहा कि योगी मॉडल को आज पूरे भारत में लागू किया जा रहा है। वहीं, ममता बनर्जी के शासन को असफल करार देते हुए प्रदर्शनकारियों ने कहा कि उनका मॉडल ‘तुष्टीकरण और आतंक’ पर आधारित है।
गुजरात में हाल ही में हुए बुलडोजर एक्शन का उदाहरण देते हुए कहा गया कि “गलत करने वालों को सज़ा मिलनी चाहिए, और वही ‘योगी मॉडल’ है।”
हिंदू सेना की मांग और सुरक्षा पर जोर
प्रदर्शन में यह भी मांग उठाई गई कि केंद्र सरकार हिंदू समाज की सुरक्षा के लिए एक विशेष ‘हिंदू सेना’ का गठन करे। यदि किसी क्षेत्र में हिंदुओं पर अत्याचार हो तो यह सेना वहां जाकर उन्हें सुरक्षा प्रदान करे।

“हम केंद्र सरकार से आग्रह करते हैं कि अब समय आ गया है कि हिंदुओं की रक्षा के लिए एक अलग बल तैनात हो,” प्रदर्शनकारियों ने कहा।
राजस्थान से उठी आवाज, देशभर में गूंजने की तैयारी
राजस्थान में हुए इस प्रदर्शन में वक्ताओं ने कहा कि अगर अपने पड़ोसी राज्य में हो रहे अत्याचार के खिलाफ नहीं बोलेंगे तो पूरे देश में न्याय की बात कैसे करेंगे?
राजस्थान की कानून व्यवस्था पर भी सवाल उठाए गए और कहा गया कि कानून तो है लेकिन उसका सही से पालन नहीं हो पा रहा है।
ममता बनर्जी पर सीधा हमला: “मुगलिया मानसिकता” का आरोप
प्रदर्शनकारियों ने ममता बनर्जी को “मुगलों का वारिस” बताते हुए कहा कि उनकी मानसिकता हिंदू समाज को कुचलने वाली है। यह भी कहा गया कि बंगाल में बांग्लादेशी घुसपैठियों को बढ़ावा दिया जा रहा है और राज्य को “अलग देश” बनाने की साजिश चल रही है।
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